लखनऊ, योगी आदित्यनाथ ने आदेश दिया है कि प्रदेश के सभी शासकीय और निजी कार्यालयों में (आवश्यक सेवाओं के अलावा) एक समय में 50 फीसदी कार्मिकों की भौतिक उपस्थिति की व्यवस्था लागू की जाए। आवश्यकतानुसार ‘वर्क फ्रॉम होम’ संस्कृति को प्रोत्साहित किया जाए।
निजी क्षेत्र के कार्यालयों में सेवारत कोई कर्मचारी यदि कोविड पॉजिटिव होता है तो उसे भी न्यूनतम 07 दिनों का वेतन सहित अवकाश अनुमन्य कराया जाए। सभी कार्यालयों में कोविड हेल्प डेस्क की स्थापना अनिवार्य रूप से हो। बिना स्क्रीनिंग किसी को प्रवेश न दें।
राज्य सरकार हर एक प्रदेशवासी के जीवन और जीविका की सुरक्षा के लिए संकल्पित है। इस दिशा में किए जा रहे प्रयासों के सकारात्मक परिणाम भी मिल रहे हैं। बीते कुछ दिनों से प्रदेश में कोरोना के नए मामलों में बढ़ोतरी देखने को मिल रही है। लोगों में पैनिक न हों, अतः उन्हें सही, सटीक और समुचित जानकारी दी जाए।
यूपी में वर्तमान में एक्टिव केस की कुल संख्या 33,946 है, इनमें 33,563 लोग होम आइसोलेशन में स्वास्थ्य लाभ ले रहे हैं। बहुत कम संख्या में लोगों को अस्पताल की जरूरत पड़ रही है। विशेषज्ञों का मानना है कि यह वैरिएंट पूर्व के वैरिएंट्स की तुलना में बहुत कम नुकसानदेह है। वैक्सीन कवर ले चुके स्वस्थ-सामान्य व्यक्ति के लिए यह बड़ा खतरा नहीं है। कोरोना प्रोटोकॉल का हर हाल में अनुपालन जरूरी है। घबराने की नहीं, सावधानी और सतर्कता की जरूरत है।
बीते 24 घंटे में कुल 8334 नए संक्रमित मिले प्रदेश में बीते 24 घंटों में हुई 02 लाख 01 हजार 465 सैम्पल की जांच में कुल 8334 नए संक्रमितों की पुष्टि हुई। इसी अवधि में 335 लोग उपचारित होकर कोरोना मुक्त भी हुए। लोगों को मास्क पहनने, टीकाकवर लेने और सोशल डिस्टेन्सिंग के लिए प्रेरित किया जाए। बचाव का यह सर्वोत्तम प्राथमिक उपाय है।
बस, रेलवे स्टेशन, एयरपोर्ट आदि पर टेस्टिंग के दौरान कोविड पॉजिटिव पाए जा रहे लक्षणयुक्त लोगों को संस्थागत आइसोलेशन में रखा जाए। इनके लिए क्वारन्टीन सेंटर, भोजन और समुचित उपचार की पुख्ता व्यवस्था की जाए।